
सुनीता के साथ विलमोर, निक हेग और रूस के एलेक्जेंडर गोरबुनोव भी हैं, चारों 18 मार्च सुबह 10:35 बजे इंटरनेशनल स्पेस स्टेशन से स्पेसएक्स के ‘ड्रैगन’ कैप्सूल से पृथ्वी के लिए हुए थे रवाना
19 मार्च यानी बुधवार तड़के दुनिया को एक राहत भरी खबर मिली। नौ महीने 13 दिन तक अंतरिक्ष में फंसे रहने के बाद नासा की अंतरिक्ष यात्री सुनीता विलियम्स बुधवार तड़के 3:28 बजे फ्लोरिडा के तट पर समुद्र में सकुशल लैंड हो गईं। उनके साथ विलमोर, निक हेग और रूस के एलेक्जेंडर गोरबुनोव भी हैं। वे भारतीय समयानुसार मंगलवार सुबह 10:35 बजे इंटरनेशनल स्पेस स्टेशन से स्पेसएक्स के ‘ड्रैगन’ कैप्सूल से पृथ्वी के लिए रवाना हुई थीं। अंतरिक्ष यात्रियों ने करीब 17 घंटे की यात्रा की। टेकऑफ से पहले जापानी अंतरिक्ष यात्री ताकुया ओनिशी ने कैप्सूल और स्पेस स्टेशन के बीच हैच सील पर धूल के कुछ कण देखे। ये सुनिश्चित करने के लिए सील पूरी तरह एयरटाइट रहे, इन्हें पूरी तरह हटाना बहुत जरूरी था। ओनिशी ने यह काम पूरा किया, जिसके बाद टेकऑफ को हरी झंडी दी गई।
इलॉन मस्क की कंपनी स्पेसएक्स का स्पेसक्राफ्ट ‘ड्रैगन’ 10 बार अंतरिक्ष यात्रियों को सकुशल स्पेस स्टेशन ले जा चुका है और 10 बार वापस भी लौट चुका है। यानी इसका सक्सेस रेट 100% रहा है। सुनीता विलियम्स और विलमोर को स्पेस स्टेशन पर सिर्फ आठ दिन बिताने थे, लेकिन तकनीकी समस्याओं के कारण वे 286 दिनों तक वहां फंसे रहे। इस दौरान उन्होंने 4,500 बार पृथ्वी की परिक्रमा की।